12वीं में कोई फेल नहीं होगा 10वीं के अंक से बनेगा रिजल्ट, असंतुष्ट छात्र बाद में आयोजित परीक्षा दे सकेंगे

भोपाल, मध्य केसरी डेस्क। मध्यप्रदेश में 12वीं के रिजल्ट का फार्मूला तय हो गया है। बोर्ड की 12वीं परीक्षा का परिणाम दसवीं क्लास के पांच विषयों मैं आने वाले सबसे ज्यादा अंकों के अधिभार (वेटेज) के आधार पर बनेगा। इसके अनुसार किसी को भी फेल नहीं किया जाएगा। अधिभार शब्द को लेकर स्कूल शिक्षा मंत्री इंदर सिंह परमार ने स्पष्ट किया कि इसमें अधिभार का कोई अतिरिक्त मतलब नहीं है। सीधी सी बात है कि दसवीं के टॉप 5 विषयों में मिले अंकों की तर्ज पर 12वीं की मार्कशीट बना दी जाएगी। यानी स्टूडेंट का जो पासिंग परसेंटेज दसवीं में था वही लगभग 12वीं में ही होगा।

जो अंक 10वीं में थे वही 12वीं में भी
उदाहरण के तौर पर यदि किसी छात्र को दसवीं में हिंदी विषय में 100 में से 70 अंक मिले हैं तो 12वीं में भी हिंदी में 70 अंक ही दिए जाएंगे। इसी तरह मैपिंग किए गए सभी विषयों को अंक प्रदान किए जाएंगे। परीक्षा वर्ष 2021 की नियमित और प्राइवेट के स्टूडेंट के लिए फॉर्म भरने वाले सभी छात्रों को उनकी कक्षा दसवीं के सर्वश्रेष्ठ पांच विषयों के विषयवार अंको के अधिभार के आधार पर रिजल्ट बनाने पर सहमति बन गई है। नियमित और प्राइवेट किसी भी छात्र को फेल नहीं किया जाएगा।

माध्यमिक शिक्षा मंडल तैयार करेगा गाइडलाइन
कक्षा दसवीं के विषयों के आधार पर परीक्षा परिणाम तैयार करने की विस्तृत कार्य योजना का जिम्मा माध्यमिक शिक्षा मंडल को सौंपा गया है। वह अलग से गाइडलाइन जारी करेगा कि अंको का अधिभार किस तरह से निकाला जाएगा। मंडल द्वारा निर्धारित मापदंड के आधार पर तैयार रिजल्ट से कोई छात्र संतुष्ट नहीं है तो वह अलग से राज्य शासन द्वारा भविष्य में आयोजित परीक्षा दे सकेगा।